TV-Style Ad: YouTube की लोकप्रियता अब UK में ITV जैसे पारंपरिक चैनलों को पीछे छोड़ चुकी है, लेकिन इस बढ़ते प्रभाव के बीच scam विज्ञापनों और deepfake धोखाधड़ी ने चिंता बढ़ा दी है। इसी की प्रतिक्रिया में Liberal Democrats ने YouTube पर टीवी-स्टाइल पूर्व-प्रकाशन विज्ञापन जांच लागू करने का दबाव बनाया है। By YouCraytor टीम | टेक, सोशल मीडिया और साइबर सुरक्षा की खबरें आपकी भाषा में
YouTube की लोकप्रियता अब UK में ITV जैसे पारंपरिक चैनलों को पीछे छोड़ चुकी है, लेकिन इस बढ़ते प्रभाव के बीच scam विज्ञापनों और deepfake धोखाधड़ी ने चिंता बढ़ा दी है। इसी की प्रतिक्रिया में Liberal Democrats ने YouTube पर टीवी-स्टाइल पूर्व-प्रकाशन विज्ञापन जांच लागू करने का दबाव बनाया है।
क्यों उठ रहा है TV-Style Ad वेटिंग का मुद्दा?
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ब्रिटिश Liberal Democrats का कहना है कि अब समय आ गया है जब YouTube जैसी डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म को TV नेटवर्क की तरह कठोर विज्ञापन पूर्व-स्वीकृति प्रक्रिया अपनानी चाहिए।
टीवी पर हर विज्ञापन Clearcast या Radio Central जैसी एजेंसियों से पहले मंजूर हो कर ही चलता है—लेकिन YouTube पर यह प्रक्रिया कई बार विज्ञापन दिखाए जाने के बाद, उपयोगकर्ता शिकायतों पर शुरू होती है। Technology MagazineThe Guardian -
Max Wilkinson MP (Culture Spokesperson, Lib Dems) स्पष्ट रूप से कहते हैं:
“यह सही नहीं है कि एक ऐसा प्लेटफ़ॉर्म जो लगभग किसी भी पारंपरिक ब्रॉडकास्टर से ज्यादा देखा जा रहा है, अभी भी हल्के विज्ञापन नियमों के तहत काम कर रहा है।”
YouTube का क्या जवाब है?
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YouTube ने इस मांग को खारिज करते हुए कहा कि वह एक ब्रॉडकास्टर नहीं है और उसे उसी नियमावली के तहत नियंत्रित नहीं किया जा सकता।
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प्लेटफ़ॉर्म ने यह भी बताया कि 2024 में UK से 411.7 मिलियन विज्ञापन हटा दिए गए और 1.1 मिलियन विज्ञापन खातों को निलंबित (suspend) किया गया—यह स्वीकार करते हुए कि वे साइबर सुरक्षा नीति को सख्ती से लागू कर रहे हैं।
scams और deepfake धोखाधड़ी बढ़े कैसे?
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Advertising Standards Authority (ASA) को 2024 में लगभग 1,691 scam विज्ञापनों की शिकायतें मिलीं, जिनमें से 177 विज्ञापनों को हटाने हेतु संकेतित किया गया।
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सबसे चिंताजनक प्रचलन है AI-निर्मित deepfake विज्ञापन, जिनमें प्रसिद्ध हस्तियों या सार्वजनिक हस्तियों को धोखाधड़ी के उद्देश्य से नकली प्रचार-चक्कर में दिखाया जाता है।
उदाहरण के लिए, King Charles का एक फर्जी endorsement वीडियो सामने आया जिसकी मदद से Cryptocurrency में निवेश को बढ़ावा दिया गया—वास्तव में यह कोई आधिकारिक endorsement नहीं था।
नियामक चुनौतियाँ और ओवरसाइट – TV-Style Ad
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UK में विभिन्न एजेंसियाँ विज्ञापनों की निगरानी करती हैं—जैसे ASA फोन और ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म पर काम करती है, लेकिन यह केवल पोस्ट-पब्लिकेशन कार्रवाई कर सकती है।
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इसके मुकाबले, Online Safety Act के तहत Ofcom को अधिकार है कि वे scam को पहले पहचानें, रोकें और कड़ी कार्रवाई करें।
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Ofcom एक fraudulent advertising code of practice लेकर आने वाला है, जिसे संसद से मंजूरी मिलने के बाद लागू किया जाएगा।
इसका असर आम देखारों और क्रिएटर्स पर
प्रभाव क्षेत्र | स्थिति और सोच |
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यूज़र सुरक्षा | Scam और deepfake विज्ञापनों से बचाव, अधिक सुरक्षित भरोसेमंद वातावरण |
दो-स्तरीय विज्ञापन व्यवस्था | सोशल प्लेटफ़ॉर्म और पारंपरिक टीवी पर अलग नियम लागू होना अनुचित |
क्रिएटर एंगेजमेंट | फ़ेक एड्स की रोक थाम से क्रिएटर्स की विश्वसनीयता और टैक्सोनॉमी बेहतर होगी |
नियामकीय सुधार | Online Safety Act और Ofcom codes जैसे क़दम डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म के लिए नए मानक स्थापित करेंगे |
Discover-सारांश
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YouTube पर scam और deepfake विज्ञापनों में वृद्धि ने ब्रिटिश Liberal Democrats को TV-स्टाइल pre-approval प्रक्रिया की मांग करने के लिए प्रेरित किया है।
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YouTube कहता है कि वो पहले से ही सख्त नीति लागू करता है और उसे ब्रॉडकास्टर की तरह नहीं देखा जाना चाहिए।
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संकेत मिलते हैं कि Online Safety Act और Ofcom ऐसी चिंताओं को कानूनी तौर पर संबोधित करने के लिए तैयार हैं।
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